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सरकारी स्कूल के हेडमास्टर पर छेड़छाड़ का आरोप, महिलाओं ने किया विरोध प्रदर्शन

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राजस्थान के दौसा जिले से एक गंभीर मामला सामने आया है। जिले के पापडदा थाना क्षेत्र के एक सरकारी स्कूल में 8वीं कक्षा की नाबालिग छात्रा के साथ कथित छेड़छाड़ का आरोप हेडमास्टर पर लगा। इस घटना के बाद स्थानीय महिलाओं ने विरोध स्वरूप हेडमास्टर को पकड़कर उसकी पिटाई की।

सूत्रों के अनुसार, यह घटनाक्रम गुरुवार दोपहर स्कूल परिसर में हुआ। हड़कंप मचने के बाद कई स्थानीय महिलाएं घटनास्थल पर पहुंचीं और हेडमास्टर की चप्पलों से पिटाई करते हुए उसकी शर्ट फाड़ दी। महिलाओं का कहना था कि उन्होंने यह कार्रवाई नाबालिग छात्रा के अधिकार और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए की।

स्थानीय लोगों और अभिभावकों का कहना है कि बच्चों की सुरक्षा और सम्मान प्राथमिकता होनी चाहिए। “हम अपने बच्चों को स्कूल सुरक्षित पढ़ाई के लिए भेजते हैं, न कि किसी खतरे का सामना करने के लिए। प्रशासन को तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए,” एक अभिभावक ने मीडिया से कहा।

पुलिस ने बताया कि मामले की शिकायत मिलने के बाद हेडमास्टर के खिलाफ जांच शुरू कर दी गई है। उन्होंने यह भी कहा कि आवश्यक कानूनी कार्रवाई जल्द की जाएगी और पीड़िता की सुरक्षा सुनिश्चित की जाएगी।

शिक्षा विभाग ने भी घटनास्थल का दौरा किया और मामले की गहन समीक्षा का आदेश दिया। विभाग ने स्पष्ट किया कि स्कूल में बच्चों और स्टाफ के लिए सुरक्षित वातावरण सुनिश्चित करना उनकी प्राथमिकता है। विभाग ने कहा कि दोषी पाए जाने पर हेडमास्टर के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।

विशेषज्ञों का कहना है कि स्कूल में बच्चे और स्टाफ दोनों के लिए सम्मानजनक और सुरक्षित माहौल बनाना आवश्यक है। जब कोई शिक्षक इस भरोसे को तोड़ता है, तो इसका असर न केवल छात्रा की मानसिक स्थिति पर पड़ता है, बल्कि पूरे स्कूल के नैतिक वातावरण पर भी प्रभाव डालता है।

सोशल मीडिया पर यह मामला तेजी से वायरल हुआ और लोगों ने हेडमास्टर के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की। स्थानीय सामाजिक संगठन और महिला समूह भी सक्रिय हो गए हैं और पुलिस व प्रशासन से त्वरित और सख्त कार्रवाई की अपील कर रहे हैं।

यह घटना शिक्षा जगत और समाज के लिए चेतावनी है कि नाबालिगों की सुरक्षा सुनिश्चित करना प्राथमिक कर्तव्य है। अब यह देखना बाकी है कि प्रशासन कितनी जल्दी और प्रभावी कार्रवाई करता है, ताकि स्कूलों में बच्चों के लिए सुरक्षित और संरक्षित वातावरण सुनिश्चित किया जा सके।

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