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महिला के बैग में मिली दो साल की बच्ची, ऐसे सामने आया मामला

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Getty Images महिला बस में यात्रा कर रही थी और इस दौरान ड्राइवर ने बैग हिलते देखा (सांकेतिक तस्वीर)

न्यूज़ीलैंड में एक महिला को बैग में दो साल की बच्ची के साथ गिरफ़्तार किया गया है. महिला बच्ची को बैग में रखकर बस में यात्रा कर रही थी.

पुलिस के मुताबिक़, "रविवार को उत्तरी न्यूज़ीलैंड के छोटे शहर कायवाका में बस स्टॉप पर यह मामला सामने आया. एक यात्री ने अपना सामान निकालने के लिए कहा तो ड्राइवर ने बैग को हिलते देखा. ड्राइवर ने बैग खोला तो उसमें दो साल की बच्ची मिली."

27 साल की इस महिला को बच्ची के साथ बुरा बर्ताव और लापरवाही के आरोप में गिरफ़्तार कर लिया गया है.

स्थानीय मीडिया का कहना है कि बच्ची लगभग एक घंटे से बैग में बंद थी. पुलिस ने बताया कि अब बच्ची सुरक्षित है और उसकी देखभाल सुनिश्चित करने के लिए ज़रूरी इंतज़ाम किए जा रहे हैं.

'बच्ची का शरीर गर्म हो गया था'

पुलिस ने बताया, "बच्ची का शरीर बहुत गर्म था, लेकिन उसे कोई और शारीरिक चोट नहीं लगी थी."

बच्ची को अस्पताल ले जाया गया है, जहाँ उसका इलाज और जांच हो रही है. महिला और बच्ची के रिश्ते के बारे में जानकारी साझा नहीं की गई है.

पुलिस ने कहा कि महिला को सोमवार को नॉर्थ शोर डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में पेश किया गया.

पुलिस ने बस ड्राइवर की तारीफ़ करते हुए कहा, "हम ड्राइवर की सतर्कता की सराहना करते हैं. उन्होंने तुरंत कार्रवाई की और एक बड़ी दुर्घटना को होने से बचा लिया."

कोर्ट में क्या हुआ? image Getty Images

रेडियो न्यूज़ीलैंड ने अपनी रिपोर्ट में बताया है कि 27 साल की एक महिला को नॉर्थ शोर डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में पेश किया गया है.

रिपोर्ट के मुताबिक़, "चार्जशीट में पुलिस ने कहा कि बच्ची को दम घुटना, डिहाइड्रेशन, गर्मी लगना और मानसिक आघात जैसी समस्याएँ झेलनी पड़ी होंगी. उन्होंने इसे "देखभाल के मानक के हिसाब से बड़ी चूक" बताया.

कोर्ट के अंदर कार्यवाही की जानकारी देते हुए रिपोर्ट में बताया गया है, "महिला ने अदालत में कोई जवाब नहीं दिया. कोर्ट में वह हल्के रंग की हुडी पहने शांत दिखीं और कैमरे की तरफ़ से मुंह फेर लिया. फ़िलहाल उसकी पहचान उजागर नहीं की गई है."

अब इस हफ़्ते कोर्ट में अगली पेशी से पहले फॉरेंसिक साइकोलॉजी की टीम महिला से पूछताछ करेगी.

पुलिस अधिकारी साइमन हैरिसन ने बताया कि पुलिस बच्ची के परिवार और न्यूज़ीलैंड के बाल कल्याण मंत्रालय के साथ मिलकर काम कर रही है ताकि बच्ची को पूरा सहयोग और देखभाल मिल सके.

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पहले भी सामने आ चुके हैं ऐसे मामले

साल 2016 में एक महिला ने इस्तांबुल से पेरिस जाने वाली एयर फ़्रांस की फ्लाइट में अपने हैंडबैग में एक छोटी बच्ची को छिपाकर यात्रा की थी.

एयरलाइन ने तब बताया था कि यह बच्ची बिना टिकट के यात्रा कर रही थी और रात की उड़ान के दौरान पकड़ी गई.

एएफ़पी को एक एयरपोर्ट सूत्र ने बताया था कि यह महिला फ्रांस की निवासी है और हैती से बच्ची को गोद लेने की प्रक्रिया में थी. इस्तांबुल में ट्रांज़िट ज़ोन में उसे बच्ची के साथ बोर्डिंग की अनुमति नहीं मिली, जिसके बाद उसने नया टिकट खरीदा और बच्ची को बैग में छिपाकर फ्लाइट में चढ़ गई.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक़, फ़्लाइट में महिला ने बच्ची को अपने पैरों के पास कंबल से ढककर रखा. लेकिन जब बच्ची को टॉयलेट जाना पड़ा तो यात्रियों ने उसे देख लिया.

यात्रियों ने फ़्लाइट अटेंडेंट्स को जानकारी दी, जिसके बाद बच्ची को बैग से निकाला गया.

2019 में अमेरिका की एक महिला को फिलीपींस में मानव तस्करी के आरोप में गिरफ़्तार किया गया था, क्योंकि उसने कथित तौर पर एक नवजात को देश से बाहर ले जाने की कोशिश की थी.

43 साल की जेनिफ़र टैल्बॉट को मनीला के निनॉय एक्विनो अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पकड़ा गया था. अधिकारियों के मुताबिक़, वह छह दिन के एक लड़के को अपने कैरी-ऑन बैग में छिपाकर अमेरिका ले जाने की कोशिश कर रही थीं.

तब फिलीपींस की नेशनल ब्यूरो ऑफ़ इन्वेस्टिगेशन (एनबीआई) ने कहा था कि टैल्बॉट ने इमिग्रेशन अधिकारियों को बच्चे के बारे में कोई जानकारी नहीं दी और उसे छिपाकर देश से बाहर ले जाने का इरादा था.

एजेंसी के मुताबिक़, टैल्बॉट बच्चे का बोर्डिंग पास या कोई दस्तावेज़ पेश नहीं कर सकीं थीं. बच्चे के माता-पिता के ख़िलाफ़ भी चाइल्ड प्रोटेक्शन लॉ के तहत मामला दर्ज किया गया था.

बीबीसी के लिए कलेक्टिव न्यूज़रूम की ओर से प्रकाशित

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